Breaking News
चंद्र की बदली चाल का 12 राशियों की लव लाइफ पर कैसा प्रभाव पड़ेगा...! शुभ अंक-रंग युवती ने शादी के वक्त पति से छुपाई ऐसी बात, पता चलते ही पैरों तले खिसकी जमीन, परिवार सदमे में Best Recharge Plans : Jio ने 84 दिन वाले प्लान से BSNL और Airtel के होश उड़ा दिए, करोड़ों यूजर्स की हो गई मौज Cooking Oil Price Reduce : मूंगफली तेल हुआ सस्ता, सोया तेल की कीमतों मे आई 20-25 रुपये तक की भारी गिरावट PM Kisan Yojana : सरकार किसानों के खाते में भेज रही 15 लाख रुपये, फटाफट आप भी उठाएं लाभ
Thursday, 12 June 2025

Madhya Pradesh

मध्य प्रदेश : छात्रों के लिए मुख्यमंत्री शिवराज की बड़ी घोषणा, 16 अक्टूबर से होगी शुरूआत, मिलेगा लाभ

09 October 2022 07:19 PM Mega Daily News
हिंदी,पढ़ाई,छात्रों,इंजीनियरिंग,शिक्षा,प्रदेश,शिवराज,मंत्री,पाठ्यक्रम,मातृभाषा,शुरुआत,विश्वविद्यालय,चिकित्सा,तैयार,अंग्रेजी,madhya,pradesh,chief,minister,shivrajs,big,announcement,students,start,october,16,get,benefits

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने छात्रों के लिए बड़ी घोषणा की है। मध्य प्रदेश में इंजीनियरिंग नर्सिंग और पैरामेडिकल की पढ़ाई हिंदी में होगी। दरअसल 16 अक्टूबर को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह राजधानी भोपाल पहुंचेंगे। वहीं चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में बड़े बदलाव लाते हुए हिंदी पाठ्यक्रम का शुभारंभ करेंगे। इसके लिए अलग से किताबें तैयार कर ली गई है। गुरुवार को अपने आवास पर मुख्यमंत्री ने इसकी तैयारियों की समीक्षा बैठक की

सीएम शिवराज ने कहा कि मध्यप्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य होगा। जहां एमबीबीएस की पढ़ाई अंग्रेजी के साथ साथ हिंदी में भी कराई जाएगी और हिंदी माध्यम वाले छात्रों को इससे बड़ा लाभ मिलेगा। इसके लिए अलग से किताबें और सिलेबस तैयार कर लिए गए हैं। समीक्षा बैठक में सीएम शिवराज ने कहा कि आगे प्रदेश में मेडिकल के साथ-साथ इंजीनियरिंग नर्सिंग और पैरामेडिकल की पढ़ाई भी हिंदी में कराई जाएगी। इससे हिंदीभाषी छात्रों को बड़ा लाभ पहुंचेगा। मातृभाषा की प्रतिष्ठा को स्थापित करने और सोच बदलने की शुरुआत के लिए कार्यक्रम बेहद महत्वपूर्ण है।

इससे पहले शिक्षा मंत्री मोहन यादव ने भी हिंदी ग्रंथ अकादमी की वर्षिक कार्यसमिति की बैठक में कहा था कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति के लागू होने के बाद एक आदमी का दायित्व बढ़ेगा। प्रदेश में निजी विश्वविद्यालय और हिंदी विश्वविद्यालय के समन्वय से मेडिकल की पुस्तक को तैयार किया जा रहा है। जल्द कॉलेजों में इसकी शुरुआत कर दी जाएगी।

वही मंत्री विश्वास सारंग का कहना है कि छात्रों को मातृभाषा में पढ़ाई का मौका मिलना चाहिए। इसके लिए प्रयास किया जा रहा है। मातृभाषा में पढ़ाई की सुविधा से गरीब ग्रामीण और आदिवासी पृष्ठभूमि के छात्रों का भी आत्मविश्वास बढ़ेगा। वहीं नई शिक्षा नीति में इंजीनियरिंग व मेडिकल की पढ़ाई अपनी मातृभाषा में करने के प्रावधान किए गए हैं। हालांकि अंग्रेजी भाषा में पढ़ाई पहले की तरह ही संचालित होती रहेगी।

सीएम शिवराज ने कहा हिंदी भाषी छात्रों की स्थिति को देखते हुए यह इस बात का प्रतीक की विशेषज्ञता के विषय की पढ़ाई केवल अंग्रेजी नहीं बल्कि हिंदी भाषा में भी की जा सकती है। कार्यक्रम में हिंदी शिक्षण के संबंधित विभिन्न विद्वानों को विशेष रूप से आमंत्रित किया गया है।

हलाकि इससे पहले 2016 में अटल बिहारी वाजपेई हिंदी विश्वविद्यालय द्वारा हिंदी में इंजीनियरिंग और चिकित्सा शिक्षा की घोषणा की गई थी, इसके लिए इंजीनियरिंग पाठ्यक्रम की शुरुआत की गई थी लेकिन वर्ष में केवल 3 छात्रों द्वारा ही प्रवेश दिया गया, जिसके बाद पाठ्यक्रम को बंद कर दिया गया था।

हिंदी में एमबीबीएस पाठ्यक्रम शुरू नहीं कर सकता क्योंकि भारतीय चिकित्सा परिषद से इसे अनुमति नहीं दी गई थी। अब केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह इसकी शुरुआत करेंगे, वहीं हिंदी विश्वविद्यालय के कुलपति रामदेव भारद्वाज का कहना है कि राज्य सरकार ने के लिए अनुमति लेने का फैसला किया है।

whatsapp share facebook share twitter share telegram share linkedin share
Related News
Latest News