अमेरिका की स्पीकर नैन्सी पेलोसी के ताइवान दौरे से भड़के चीन ने अमेरिका को धमकी दी है। चीन ने कहा है कि अमेरिका को इसका परिणाम भुगतना होगा। बता दें कि चीन और अमेरिका के राष्ट्रपतियों के बीच फोन पर बात कर ने की चर्चा थी। इससे पहले ही एक बार फिर दोनों देशों में तनाव बढ़ता नजर आ रहा है। पिछले हफ्ते ऐसी रिपोर्ट्स आई थीं कि अगस्त में नैन्सी पेलोसी ताइवान जाने वाली हैं। माना जाता है कि नैन्सी पेलोसी अमेरिका की राष्ट्रपति बनने की कतार में हैं। 

अमेरिका के अधिकारियों का कहना है कि इस सप्ताह चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग और जो बाइडन के बीच फोन पर बात हो सकती है। बता दें कि अमेरिका की नई लीडरशिप में भी चीन से रिश्ते सुधरे नहीं हैं। ताइवान, मानवाधिकार और तकनीकी सेक्टर को लेकर दोनों देशों के बीच तनातनी देखने को मिली है। चीन ने कहा कि 1997 के बाद पहली बार होगा जब अमेरिका का कोई हाउस स्पीकर ताइवान जाएगा। बीजिंग इस दौरे के लिए तैयारी कर रहा है। 

चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने बुधवार को कहा, हम स्पीकर पेलोसी के ताइवान दौरे का विरोध करते हैं। अगर अमेरिका चीन को चुनौती देता है तो उसे परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहना चाहिए। अभी सीनियर डेमोक्रेट की तरफ से पेलोसी के दौरे पर कोई बयान नहीं दिया गया है। हालांकि बाइडन प्रशासन को भी इस बात का डर है कि ताइवान दौरे से चीन के लिए रेड लाइन क्रॉस हो सकती है। 

पिछले सप्ताह जो बाइडन ने सेना से कहा था कि ताइवान दौरे का अभी सही समय नहीं है। बता दें कि डेमोक्रेटिक ताइवान लगातर चीन की धमकियों से परेशान है। चीन कभी भी ताइवान पर हमला कर सकता है। चीन ने ताइवान के पास अपने लड़ाकू विमानों की गतिविधियों को बढ़ा दिया है। बीते सप्ताह पेलोसी ने यह भी कहा था कि ताइवान का समर्थन करना जरूरी हो गया है। 

 

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