Religious

सर्वपितृ अमावस्या: आज ब्राह्मणों के साथ-साथ इन लोगों को भी भोजन अवश्य कराएं, होंगे पितर प्रसन्न और देंगे सुख-समृद्धि का आशीर्वाद

Published On September 25, 2022 11:23 AM IST
Published By : Mega Daily News

पितृपक्ष के दौरान पितरों का श्राद्ध, तर्पण और पिंडदान करना शुभ माना जाता है। भाद्रपद पूर्णिमा से शुरू हुए पितृपक्ष अश्विन मास की अमावस्या तिथि को समाप्त होंगे। अश्विन मास की अमावस्या तिथि को सर्वपितृ अमावस्या के नाम से जानते हैं। इस बार सर्व पितृ अमावस्या 25 सितंबर को है। इस दिन उन पितरों का भी श्राद्ध किया जाता है जिनकी मृत्यु की तिथि का पता न हो या फिर किसी कारण वश पहले श्राद्ध न पाए हो। सर्वपितृ अमावस्या के दिन सभी पितरों का श्राद्ध किया जा सकता है। श्राद्ध के दिन ब्राह्मणों के साथ-साथ इन लोगों को भोजन अवश्य करना चाहिए। आइए जानते हैं कि सर्वपितृ अमावस्या तिथि के दिन किन किन लोगों का श्राद्ध करना चाहिए।

सर्वपितृ अमावस्या के दिन इन लोगों को कराएं भोजन

गाय

गाय को भी श्राद्ध के लिए भोजन करना चाहिए। पितरों को श्राद्ध करते समय एक भाग गाय के लिए जरूर निकालें। इसके अलावा घर के पश्चिम दिशा में गाय को महुआ या पलाश के पत्तों पर भोजन कराना शुभ माना जाता है।

कुत्ता

ब्राह्मणों को भोजन कराने से पांच भागों में से एक भाग कुत्ता के लिए निकाला जाता है।

कौवा

श्राद्ध के समय कौए को भी भोजन कराएं। माना जाता है कि पितर कौवे के रूप में भी आकर भोजन ग्रहण करते हैं।

चींटी

पिपल्यादि बलि यानी चींटी, कीड़े-मकौड़ों आदि को भी भोजन करना चाहिए।

देवी-देवता

श्राद्ध वाले दिन पितरों, ब्राह्मणों को ही नहीं बल्कि भगवान विष्णु, अर्यमा, यम, चित्रगुप्त सहित अन्य देवी देवता को पत्ते पर भोजन कराएं।

ब्राह्मण

श्राद्ध के दौरान 5 लोगों को भोजन कराने के बाद ब्राह्मणों को जरूर भोजन कराएं। उन्हें भोजन करने के साथ दक्षिणा जरूर दें।

भांजा

कहा जाता है कि 100 ब्राह्मण और एक भानेज यानी एक भांजा के भोजन कराने 100 ब्राह्मणों को भोजन कराने के बराबर पुण्य की प्राप्ति होती है।

जमाई

शास्त्रों के अनुसार, श्राद्ध के दौरान जमाई या फिर बहनोई को जरूर भोजन कराना चाहिए। इससे पितृ प्रसन्न होते हैं।

मछली

पितरों का निमित्त पिंडदान, श्राद्ध कर्म करने के बाद मछलियों को भी दाना जरूर खिलाएं।

पीपल

श्राद्ध कर्म के साथ पीपल को भी जल के रूप में भोजन खिलाएं और विधिवत पूजा करें। 

श्राद्ध अमावस्या पितरों ब्राह्मणों चाहिए सर्वपितृ लोगों कराने दौरान कराएं पितृपक्ष अश्विन जानते कराना कुत्ता sarvapitri amavasya along brahmins people must also fed ancestors happy
Related Articles