राजस्थान: राजस्थान के भरतपुर जिले में बच्चों के मुंडन कराने और उनको नजर से बचाने के लिए कुएं वाला मेले का आयोजन हुआ. जिसमें लोग अपने बच्चों को लेकर पहुंचे और उनका मुंडन कराने के बाद मुर्गे द्वारा आशीर्वाद दिलवाया. इसके बाद झाड़-फूक दिलाई गई. इस दौरान भारी संख्या में महिला और पुरुष अपने छोटे बच्चों को लेकर मेले में पहुंचे और अपने बच्चों के सिर पर मुर्गा घुमवाया. कई लोगों का कहना है की वैज्ञानिक युग में यह आस्था है या अन्धविश्वास?जस्थान से हैरान कर देने वाली खबर सामने आई है। बता दें कि राजस्थान के धौलपुर में सैंपऊ उपखंड थाना क्षेत्र के लधपुरा गांव में 30 वर्षीय महिला को बीते सोमवार की रात सांप ने डस लिया था। परिजन उसे इलाज के लिए जिला अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां पर डॉक्टरों ने महिला को मृत घोषित कर दिया। जिसके बाद परिजन शव को घर वापस ले आए। मंगलवार की सुबह परिजनों ने स्थानीय वाहगीरों को बुलाया। जिन्होंने शव के सामने झाड़ फूंक की।
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16 घंटे तक चला अंधविश्वास का खेल बता दें कि डॉक्टरों ने महिला को मृत घोषित कर दिया था लेकिन परिजन झाड़ फूंक के द्वारा महिला को जिंदा करने पर अड़े रहे। जिसके बाद परिजन महिला के शव का झाड़-फूंक करवाने लगे। यह सिलसिला शाम तक चलता रहा। तकरीबन 16 घंटे इस अंधविश्वास के खेल के बाद देर शाम को ग्रामीणों ने परिजनों को सझाइश कर मृतका का अंतिम संस्कार करवाया। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार वीरमति (30) पत्नी मांगीलाल निवासी लधपुरा को सोमवार रात करीब 10 बजे सोते समय जहरीले सांप ने डस लिया। महिला के चीखने पर परिजन जाग गए। जिस पर महिला को परिजन जिला अस्पताल गए, जहां चिकित्सक ने उसे मृत घोषित कर दिया। जिसके बाद परिजन शव को वापस घर ले गए।
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शाम हुआ मृतिका का अंतिम संस्कार इसके बाद महिला के परिजन रात में देसी इलाज कराने के लिए भटकते रहे। मंगलवार सुबह पहुंचे वाहगीरों ने शव के पास नीम के पत्तों से झाड-फूंक शुरू कर दी। इस दौरान बड़ी संख्या में भीड़ जमा हो गई। ओझा- तांत्रिक ने शाम तक शव के ऊपर झाड़- फूंक करने का सिलसिला जारी रखा लेकिन इसका कुछ असर नहीं दिखा। जिसके बाद करीब चार बजे ग्रामीणों ने परिजनों को समझाया। जिसके बाद मृतका का अंतिम संस्कार हो